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आम आदमी की रगों में दौड़ता एक कवि प्रदीप

11 दिसंबर को इनकी 10वीं पुण्यतिथि पर विशेष। कविता, गीत या फिर लेखन की कोई और विधा हो, वो तभी मुकम्मल होती है जब वो सभी सरहदें लांघ कर एक देश से दूसरे देश और दूसरे देश से तीसरे देश तक जा पहुंचे। यद्यपि ऐसे रचनाकारों की गिनती बहुत कम है, लेकिन उन रचनाकारों में एक अग्रणी नाम प्रख्यात कवि और गीतकार प्रदीप का आता है। मध्य प्रदेश में जन्मा यह कवि 11 दिसंबर 1998 को हमें छोड़कर चला गया तो सबकी आंखें नम तो हुई लेकिन प्रदीप की रचनाएँ हर देशवासी और साहित्यप्रेमी की रगों में दौड़ती रही और यह रवानगी का सफर निरंतर चलते रहने वाला है। उनकी रचनाएं उस समय भी देशवासियों में वही जोश भर रही थी जब ताज पर कुछ आतंकियों ने खूनी खेल खेला था, जो जोश आज़ादी के समय अंग्रेज़ों के खिलाफ प्रदीप की रचनाओं ने भरा था। प्रदीप के कुछ मशहूर गीत आज हिमालय की चोटी (क़िस्मत) ऐ मेरे वतन के लोगो आओ बच्चे तुम्हें दिखाएँ (जागृति) हम लाये हैं तूफान से(जागृति) साबरमती के संत तूने (जागृति) ऊपर गगन विशाल (मशाल) कितना बदल गया इंसान (नास्तिक) छोटी सी उम्र में लिखने का शौक प्रदीप को ऐसा चढ़ा कि उनका गीत "हिमालय की चोटी से

पॉडकास्ट कवि सम्मेलन का तीसरा अंक

कविता वाचन की इंटरनेटीय परम्परा डॉक्टर मृदुल कीर्ति इंतज़ार की घडियां ख़त्म हुईं। लीजिये आपके सेवा में प्रस्तुत है सितम्बर २००८ का पॉडकास्ट कवि सम्मलेन। पिछली बार की तरह ही इस बार भी इस ऑनलाइन आयोजन का संयोजन किया है हैरिसबर्ग, अमेरिका से डॉक्टर मृदुल कीर्ति जी ने। पॉडकास्ट कवि सम्मेलन भौगौलिक दूरियाँ कम करने का माध्यम है और इसमें भारत व अमेरिका के कवियों ने भाग लिया है। इस बार के पॉडकास्ट कवि सम्मेलन ने पोंडिचेरी से स्वर्ण-ज्योति, फ़रीदाबाद से शोभा महेन्द्रू, दिल्ली से मनुज मेहता, ग़ाज़ियाबाद से कमलप्रीत सिंह, अशोकनगर (म॰प्र॰) से प्रदीप मानोरिया, रोहतक से डॉक्टर श्यामसखा "श्याम", भारत से विवेक मिश्र, पिट्सबर्ग (अमेरिका) से अनुराग शर्मा, तथा हैरिसबर्ग  (अमेरिका) से डॉक्टर मृदुल कीर्ति को युग्मित किया है। पिछले सम्मलेन की सफलता के बाद हमने आपकी बढ़ी हुई अपेक्षाओं को ध्यान में रखा है. हमें आशा ही नहीं वरन पूर्ण विश्वास है कि इस बार का सम्मलेन आपकी अपेक्षाओं पर खरा उतरेगा और आपका सहयोग हमें इसी जोरशोर से मिलता रहेगा। नीचे के प्लेयरों से सुनें। (ब्रॉडबैंड वाले यह प्लेयर चलायें) (

पॉडकास्ट कवि सम्मेलन का दूसरा अंक

पॉडकास्ट के माध्यम से काव्य-पाठों का युग्मन मृदुल कीर्ति लीजिए हम एक बार पुनः हाज़िर हैं पॉडकास्ट कवि सम्मेलन का नया अंक लेकर। पॉडकास्ट कवि सम्मेलन भौगौलिक दूरियाँ कम करने का माध्यम है। पिछले महीने शुरू हुए इस आयोजन को मिली कामयाबी ने हमें दूसरी बार करने का दमखम दिया। पिछली बार के संचालन से हमारी एक श्रोता मृदुल कीर्ति बिल्कुल संतुष्ट नहीं थीं, उन्होंने हमसे संचालन करने का अवसर माँगा, हमने खुशी-खुशी उन्हें यह कार्य सौंपा और जो उत्पाद निकलकर आया, वो आपके सामने हैं। इस बार के पॉडकास्ट कवि सम्मेलन ने ग़ाज़ियाबाद से कमलप्रीत सिंह, धनवाद से पारूल, फ़रीदाबाद से शोभा महेन्द्रू, पिट्सबर्ग से अनुराग शर्मा, म॰प्र॰ से प्रदीप मानोरिया, पुणे से पीयूष के मिश्रा तथा अमेरिका से ही मृदुल कीर्ति को युग्मित किया है। इनके अतिरिक्त शिवानी सिंह और नीरा राजपाल की भी रिकॉर्डिंग प्राप्त हुई लेकिन एम्पलीफिकेशन के बावज़ूद स्वर बहुत धीमा रहा, इसलिए हम इन्हें शामिल न कर सके, जिसका हमें दुःख है। नीचे के प्लेयरों से सुनें। (ब्रॉडबैंड वाले यह प्लेयर चलायें) (डायल-अप वाले यह प्लेयर चलायें) यदि आप इस पॉडकास्ट को नहीं सुन