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'सिने पहेली' में आज प्रस्तुत है गणतंत्र दिवस विशेष...

सिने पहेली –98




'सिने पहेली' के सभी प्रतियोगियों व पाठकों को सुजॉय चटर्जी का प्यार भरा नमस्कार! दोस्तों, कल 26 जनवरी, गणतंत्र दिवस है। इस शुभवसर पर हम आप सभी को हार्दिक शुभकामनायें देते हैं और आज की 'सिने पहेली' को समर्पित करते हैं देश के नाम। हिंदी सिनेमा में शुरू से ही देशभक्ति फ़िल्मों और देशभक्ति गीतों का चलन रहा है। ब्रिटिश शासन के दौरान भले ही देश भक्ति फ़िल्मों की संख्या उतनी न रह सकी हों, पर स्वाधीनता के बाद हर दशक में बहुत सारी देशभक्ति फ़िल्में बनीं व देशभक्ति के गीत लिखे गये जिन्होंने सिनेमा के इस जौनर को समृद्ध तो किया ही, साथ ही समाज को, नई पीढ़ी को अपने देश के प्रति कर्तवियों से अवगत करवाया। ऐसे फ़िल्मकारों और गीतकारों के हम आभारी हैं जिन्होंने इस दिशा में उल्लेखनीय क़दम उठाये। आज इस अंक के माध्यम से हम उन सभी फ़िल्मकारों और गीतकारों को झुक कर सलाम करते हैं। आज की पहेली में पूछे जाने वाले सवाल भी ऐसे ही देशभक्ति फ़िल्मों और गीतों पर आधारित हैं। आशा है आप सब आसानी से इन्हें सुलझा सकेंगे। तो चलिये, शुरू किया जाये आज के सवालों का सिलसिला...

आज की पहेली : गणतंत्र दिवस  विशेष

आज की पहेली केन्द्रित है देशभक्ति फ़िल्मों व देशभक्ति गीतों से जुड़े पहलुओं पर।

1. तीस के दशक के इस संगीतकार ने उस दशक में कई फ़िल्मों में देशभक्ति मूलक गीत स्वरबद्ध किए। एक गीत के मुखड़े में "भारत माता जय जय जय" आता है तो दूसरे गीत के मुखड़े में है "प्यारा वतन हमारा"। क्या आप बता सकते हैं कि ये संगीतकार कौन हैं? (3 अंक)

2. इस गायक ने मोहम्मद रफ़ी के साथ एक बहुत ही मशहूर देशभक्ति गीत गाया था। ये गायक एक संगीतकार भी रहे और इन्होंने किसी फ़िल्म के लिए एक देशभक्ति गीत को स्वरबद्ध किया था जिसके मुखड़े में "नौजवानों", "सन्तान" और "वतन" जैसे शब्द आते हैं। कौन हैं ये गायक-संगीतकार? (3 अंक)

3. नीचे दिये हुए चित्र को देख कर बताइये कि इस चित्र के माध्यम से कौन से फ़िल्मी देशभक्ति गीत का वर्णन   किया जा सकता है। (1.5 अंक)





4. नीचे चित्र में दिखाये गये पाँच अभिनेताओं को पहचानिये। (2.5 अंक)




अपने जवाब आप हमें cine.paheli@yahoo.com पर 30 जनवरी शाम 5 बजे तक ज़रूर भेज दीजिये।



पिछली पहेली का हल


1. "ऐ मेरे दिल जो चल दिये" (सरहद)

2. "देखने में भोला है" (बम्बई का बाबू)

3. "हम गवनवा न ज‍इबे हो" (ममता)

4. "छुप गया कोई रे दूर से पुकार के" (चम्पाकली)




पिछली पहेली के विजेता


इस बार भी हमारे चार नियमित प्रतियोगियों ने ही केवल भाग लिया। और लगातार तीसरी बार सबसे पहले जवाब भेज कर 'सरताज प्रतियोगी' का ताज ग्रहण किया है लखनऊ के श्री प्रकाश गोविन्द ने। बहुत बहुत बधाई आपको प्रकाश जी! और अब इस सेगमेण्ट के सम्मिलित स्कोर कार्ड पर एक नज़र...



और अब महाविजेता स्कोर-कार्ड पर भी एक नज़र डाल लेते हैं।




इस सेगमेण्ट की समाप्ति पर जिन पाँच प्रतियोगियों के 'महाविजेता स्कोर कार्ड' पर सबसे ज़्यादा अंक होंगे, वो ही पाँच खिलाड़ी केवल खेलेंगे 'सिने पहेली' का महामुकाबला और इसी महामुकाबले से निर्धारित होगा 'सिने पहेली महाविजेता'। 


एक ज़रूरी सूचना:


'महाविजेता स्कोर कार्ड' में नाम दर्ज होने वाले खिलाड़ियों में से कौछ खिलाड़ी ऐसे हैं जो इस खेल को छोड़ चुके हैं, जैसे कि गौतम केवलिया, रीतेश खरे, सलमन ख़ान, और महेश बसन्तनी। आप चारों से निवेदन है (आपको हम ईमेल से भी सूचित कर रहे हैं) कि आप इस प्रतियोगिता में वापस आकर महाविजेता बनने की जंग में शामिल हो जायें। इस सेगमेण्ट के अन्तिम कड़ी तक अगर आप वापस प्रतियोगिता में शामिल नहीं हुए तो महाविजेता स्कोर कार्ड से आपके नाम और अर्जित अंख निरस्त कर दिये जायेंगे और अन्य प्रतियोगियों को मौका दे दिया जायेगा।


तो आज बस इतना ही, नये साल में फिर मुलाक़ात होगी 'सिने पहेली' में। लेकिन 'रेडियो प्लेबैक इण्डिया' के अन्य स्तंभ आपके लिए पेश होते रहेंगे हर रोज़। तो बने रहिये हमारे साथ और सुलझाते रहिये अपनी ज़िंदगी की पहेलियों के साथ-साथ 'सिने पहेली' भी, अनुमति चाहूँगा, नमस्कार!

प्रस्तुति : सुजॉय चटर्जी

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